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Theory Exploring Your Computer : 3

Theory Exploring Your Computer : 3

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Exploring Your Computer 

 

ऑपरेटिंग सिस्टम (Operating System) कंप्यूटर सॉफ़्टवेयर का वह मुख्य हिस्सा होता है जो कंप्यूटर हार्डवेयर और उपयोगकर्ता के बीच मध्यस्थता करता है। यह उपयोगकर्ताओं को कंप्यूटर हार्डवेयर के संसाधनों को प्रभावी ढंग से उपयोग करने की अनुमति देता है। ऑपरेटिंग सिस्टम विभिन्न कार्य करता है जैसे कि मेमोरी प्रबंधन, प्रोसेस मैनेजमेंट, फाइल सिस्टम, और डिवाइस मैनेजमेंट।

उदाहरण के लिए:

  • विंडोज (Windows)
  • लिनक्स (Linux)
  • मैकओएस (macOS)
  • Unix

कंप्यूटर सिस्टम की संरचना को तीन लेयरों में विभाजित किया जा सकता है: हार्डवेयर, सिस्टम सॉफ्टवेयर, और एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर।

1.हार्डवेयर (Hardware):

इसमें कंप्यूटर की मदरबोर्ड, प्रोसेसर (CPU), मेमोरी (RAM), हार्ड डिस्क, कीबोर्ड, माउस, मॉनिटर आदि शामिल होते हैं।

2. सिस्टम सॉफ्टवेयर

ऑपरेटिंग सिस्टम सॉफ्टवेयर का कंपोनेंट होता है इसमें प्रोसेस मैनेजमेंट रुटिन्स,  मेमोरी मैनेजमेंट रुटिन्स, इनपुट/ आउटपुट Control रुटिन्स का फाइल मैनेजमेंट रुटिन्स इत्यादी शामिल होता है

3. एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर (Application Software)

 वे प्रोग्राम होते हैं जो उपयोगकर्ताओं की विशिष्ट आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए डिज़ाइन किए जाते हैं। ये सॉफ्टवेयर कंप्यूटर पर विभिन्न कार्यों को पूरा करने में मदद करते हैं, जैसे डाक्यूमेंट लिखना, डेटा विश्लेषण करना, इंटरनेट ब्राउज़ करना आदि।

 

रिसोर्स मैनेजमेंट (Resource Management): यह Computer लिए सभी साधन उपलब्ध करवाता है जिनमें मुख्यत मेमोरी Management  प्रोसेसर मैनजमेंट, डिवाइस मैनेजमेंट आदि होते हैं। एक ऑपरेटिंग System कई बेसिक कार्य करता है जैसे कि कन्ट्रोलिंग और मेमोरी ellocation सिस्टम के अनुरोधों (Request) को प्राथमिकता देना, इनपुट-Output डिवाइस को कन्ट्रोल करना, नेटवर्किंग को सुगम बनाना और File  सिस्टम को प्रबंधित करने की सुविधा, हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर की पर शेयरिंग कि अनुमति देना, एप्लिकेशन सॉफ्टवेयर को पोर्टेबल और बहुमुखी (versatile) बनाना, यूजर के प्रोग्रामों के बीच सुरक्षा और संरक्षण प्रदान करना, एरर को ढूंढना, फॉल्ट को कम करना, कॉन्फिगर करना।

एप्लीकेशंस और यूजर के बीच इंटरफेस : ऑपरेटिंग सिस्टमएक यूजर्स के लिएइंटरफेस की तरह कार्य करता है

 Program Execution: OS एप्लीकेशंस प्रोग्राम का मशीन हार्डवेयर के बीच इंटरफेस की तरह कार्य करता है

 

ग्राफ़िकल यूजर इन्टरफेस (GUI)

ग्राफ़िकल यूजर इन्टरफेस (GUI) एक माध्यम है जो आइकन और ग्राफिक्स का प्रयोग करके यूजर को इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस से संवाद करने की सुविधा प्रदान करता है। इसके विपरीत, कमाण्ड यूजर इन्टरफेस (CUI) में कमाण्ड पर आधारित नेविगेशन किया जाता है।

GUI के उदाहरण:

  • आधुनिक Windows वर्जन
  • Linux
  • Mac

CUI के उदाहरण:

  • MS-DOS
  • Unix

GUI के प्रमुख तत्व

  1. WYSIWYG (What You See Is What You Get): स्क्रीन पर प्रदर्शित इमेज का पेपर पर प्रदर्शित होने वाली इमेज से मिलना।
  2. इमेज स्कैनिंग (Image Scanning): स्कैन की गई इमेज का तात्कालिक विजुअल रिप्रजेन्टेशन।
  3. प्रोसेसेबल ग्राफिक्स (Processable Graphics): फोटोशॉप, फायरवर्क्स जैसे एप्लिकेशन जो इमेज को बदल सकते हैं।
  4. एनीमेशन और मल्टीमीडिया सपोर्ट (Animation and Multimedia Support): विजुअल आधारित टीचिंग और सूचना कियोस्क में उपयोग।
  5. दिव्यांग लोगों के लिए प्रावधान (Provisions for People with Disabilities): दृष्टिबाधित व्यक्तियों के लिए डेस्कटॉप इंटरफेस को अनुकूल बनाना।

विंडोज़ इंटरफेस

विंडोज़ इंटरफेस को भी GUI कहा जाता है। यह माउस या आइकन के द्वारा उपयोग में लिया जाता है। इसमें टाइटल बार, मेन्यू बार और विजेट्स होते हैं।

विंडोज 11 का उपयोगकर्ता इंटरफेस व्याख्या करने के लिए, यहां उसके मुख्य तत्वों की सरल और समझने में सहायक व्याख्या है:

  1. कंप्यूटर को बूट करना (बूटिंग):
    • बूटिंग (Booting): कंप्यूटर को शुरू और रीस्टार्ट करना बूटिंग कहलाता है। इसमें दो तरह की बूटिंग होती है - कोल्ड बूट (पावर ऑफ स्थिति से स्टार्ट) और वार्म बूट (बिना पावर ऑफ किए रीस्टार्ट)
  2. डेस्कटॉप एरिया (Desktop Area):
    • डेस्कटॉप: जब आप कंप्यूटर में लॉगिन करते हैं, तो वो स्क्रीन जिस पर आपको आइकन्स, वॉलपेपर और टास्कबार दिखते हैं, उसे डेस्कटॉप कहते हैं। यह आपको अपने प्रोग्राम्स के शॉर्टकट्स रखने और अन्य कार्य करने में मदद करता है।
  3. टास्कबार (Taskbar):
    • टास्कबार: यह उपयोगकर्ता इंटरफेस के नीचे की ओर स्थित होती है और आपको स्टार्ट मेनू, चल रहे उपयोगकर्ता की स्थिति को दिखाने के साथ-साथ आपके चल रहे प्रोग्राम के शॉर्टकट्स को भी दिखाती है।
  4. आइकन्स (Icons):
    • आइकन्स: ये छोटे पिक्चर्स होते हैं जो आपको प्रोग्राम्स, फ़ोल्डर्स या अन्य उपयोगी ऑब्जेक्ट्स के शॉर्टकट्स दिखाते हैं। आप इन पर क्लिक करके उस प्रोग्राम या फ़ोल्डर को खोल सकते हैं।
  5. सिस्टम ट्रे (System Tray):
    • सिस्टम ट्रे: यह टास्कबार के निचले भाग में स्थित होता है और आपको बैकग्राउंड में चल रहे प्रोग्राम्स के आइकन्स दिखाता है, जैसे कि समय, नेटवर्क की स्थिति, बैटरी लाइफ, आदि।

 क्विक लॉन्च आइकन (The Quick-launch Icons): ये आइकन भी बटन होते हैं। कुछ बटन वास्तविक बटन की तरह दिखाई देते हैं और कुछ तब दिखाई देते हैं जब कर्सर को उन पर रखते हैं। फ्लाक के दूसरी तरफ के बटन और सिस्टम ट्रे को स्टार्ट बटन कहते हैं। जबते हैं। टाटक पर क्लिक करते हैं तो स्टार्ट मीनू खुल जाता है। स्टार्ट मीनू में कई प्रोग्राम के मीनू और डेटा का कलेक्शन होता है।

शॉर्टकट आइकन (Shortcut Icon):- आइकन को दर्शाने के लिए जो लिंक होता है उसे ही शॉर्टकट आइकन कहा जाता है डेस्कटॉप पर स्थित आइकन, क्विक लॉन्च बार और स्टार्ट मीनू के शॉर्टकट अक्सर इसमें शामिल होते हैं। डेस्कटॉप पर शॉर्टकट, आइकन के ऊपर एक छोटे सिंबल की मदद से अक्सर प्रदर्शित रहते है। आइकन सभी डेटा समूह तथा प्रोग्राम को रिप्रजेंट करते है चाहे वो शॉर्टकट्स हो या न हो। सामान्यतः डेस्कटॉप पर और स्टार्ट पर स्थित आइकन का शॉर्टकट होता है। जबकि डेस्कटॉप पर उपलब्ध तथा स्टार्ट-मेन्यु में प्रदर्शित सामान्यतः शॉर्टकट होते है।

स्टार्ट मीनू (Start Menu):- Windows 8, Windows 8.1 में स्टार्ट मीनू नहीं था, बाद में इसे कुछ सुधार कर Windows 10 में लाया गया है, इसके साथ ही एक स्पेस दिया गया है जिसके द्वारा आप अपने फेवरेट एप (App), प्रोग्राम, log और वेबसाइट को इन्क्लुड कर सकते है। विंडोज 11 में स्टार्ट मीनू को ओपन करने के लिए सेंटर में स्थित स्टार्ट बटन पर क्लिक करें। की-बोर्ड और अन्य कोई डिवाइस पर स्थित स्टार्ट बटन को प्रेस करके स्टार्ट मीनू को ओपन किया जा सकता है।

  अकाउन्ट आप्शन (Account Option): अकाउन्ट नाम पर क्लिक करके अपने अकाउन्ट पिक्चर को बदल सकते हैं। आप डिवाइस को लॉक और अकाउन्ट को साइन आउट कर सकते हैं।

पॉवर (Power): इस बटन पर क्लिक करके, आप अपनी डिवाइस को स्लीप मोड अथवा डिवाइस को शट डाउन और रिस्टार्ट कर सकते हैं।

 क्विक लिंक और बार-बार प्रयोग किए जाने वाले एप्स (Quick Link and Frequent used Apps):

  • स्टार्ट मीनू के बाईं ओर आपको PC सेटिंग्स, क्विक लिंक, और टॉप फॉर डॉक्यूमेंट्स फाइल एक्सप्लोरर मिलेंगे।
  • यह क्षेत्र बार-बार प्रयोग में आने वाले एप्स और प्रोग्राम्स की सूची के नीचे होता है।
  • यदि प्रोग्राम के आगे एक एरो दिखता है, तो उस पर माउस ले जाकर हाल ही में उपयोग किए गए फाइल्स और प्रोग्राम्स की सूची देख सकते हैं।

ऑल एप्स (All Apps):ऑल एप्स पर क्लिक करते हुए सभी एप्स कोऔर प्रोग्राम को अल्फाबेटिकल देख सकते हैंकिसी विशेष ऐप को ढूंढने के लिए सर्च बॉक्स में जाकर ढूंढ सकते हैं

सर्च (Search): आप सर्च ऑप्शन्स के माध्यम से अपनी डिवाइस क्लाउड स्टोरेज में।Web पर एक साथ सर्च कर सकते हैं सर्च करने के लिए स्टार्ट मेनू को ओपन करना।सर्च बॉक्स में टाइप कीजिए जिसे अपने सर्च करना चाहते हैं।टास्कबार से भी डायरेक्ट सर्च किया जा सकता है, विंडो 11 में सर्च बटन के प्रयोग द्वारा किसी भी प्रकार की।हेल्प ले सकते हैं।इसके लिए आपको कीबोर्ड प्रश्न टाइप करना है और इससे संबंधित लिंक डिस्प्ले हो जाएंगे।

फेवरेट ऐप को पिन करना (Pin your favorite app) : अपने फेवरेट ऐप को टास्कबार या स्टार्ट मेनू पर पिन करने के लिए, स्टार्ट मेनू खोलें, ऐप को खोजें, उस पर राइट-क्लिक करें, और "Pin to taskbar" या "Pin to Start" विकल्प चुनें।

टास्क-व्यू (Task view): अगर आपने कई app तथा प्रोग्राम खोल रखे हैं तो एक नया टास्क व्यू बटन उपलब्ध होता है जिससे की आप ओपन प्रोग्राम्स की विण्डो के बीच स्विच कर सकें | सभी running App तथा प्रोग्राम्स को देखने के टास्क ब्ल्यू पर क्लिक करें।उसके पश्चात किसी आइटम को खोलने के लिए उस पर क्लिक करें।

 

मल्टीपल डेस्कटॉप: विंडोज़ 10 और 11 में, मल्टीपल डेस्कटॉप फीचर का उपयोग करके आप विभिन्न कार्यों के लिए अलग-अलग डेस्कटॉप बना सकते हैं, जिससे आपके कार्यक्षेत्र को व्यवस्थित और प्रबंधित करना आसान हो जाता है। इसे एक्सेस करने के लिए, टास्कबार पर "टास्क व्यू" बटन पर क्लिक करें या 'Windows + Tab' की दबाएँ, फिर "नया डेस्कटॉप" विकल्प चुनें। अब आप प्रत्येक डेस्कटॉप पर अलग-अलग एप्लिकेशन और विंडो सेट कर सकते हैं, जो एक साथ काम करने के लिए उपयोगी है।

 

माइक्रोसॉफ्ट एज Microsoft Edge:  विंडोस 11 में इंटरनेट एक्सप्लोर को माइक्रोसॉफ्ट एज ब्राउज़र के द्वारा रिप्लेस किया गया है, इसे डिफ़ॉल्ट ब्राउज़र बनाया गया है| इसके नवीनतम वर्जन में एज क्रोमियम का बदलाव किया गया हैं| माइक्रोसॉफ्ट एज पहला ऐसा ब्राउज़र हैं जो आपको सीधे ही वेब-पेज पर नोट लिखना, डूडल तथा वेबपेज पर हाईलाइट करने में समर्थ बनता हैं किसी आर्टिकल को सेव करने के लिए रीडिंग लिस्ट आइकन का प्रयोग किया जाता हैं जिसके द्वारा हम सेव किये गये आर्टिकल को बाद में रीडिंग व्यू आइकन से पड़ सकते हैं किसी ओपन तब पर होवर के द्वारा उसका प्रीव्यू देखा जा सकता हैं अगर आप माइक्रोसॉफ्ट एज को किसी अन्य डिवाइस पर प्रयोग कर रहे हैं तो भी फेवरेट तथा रीडिंग लिस्ट के साथ उन्हें एक्सप्रेस कर सकते हैं |   

 

Microsoft Store: आप विंडोज स्टोर से वीडियो गेम्स और ऐप्स को डाउनलोड कर सकते है इसकेआइकन को टास्कबार में पिन किया जा सकता है।

 

Cortana: माइक्रोसॉफ्ट वाइरस पावर्ड पर्सनल असिमेंट को विंडोस ११ ऑपरेटिंग सिस्टम के साथ लॉन्च किया गया हैं | कोरटाना को कॉन्फ़िगर करके सर्च बॉक्स की तरह इस्तमाल किया जा सकते हैं |

 

विंडोज 11 में कुछ बेसिक एप्लिकेशन और यूटिलिटी निम्नलिखित हैं:

1.कैलकुलेटर का प्रयोग मुख्यतः जोड़ने, घटाने, गुना करने और भाग करने में होता है कैलकुलेटर के द्वारा प्रोग्रामिंग।साइंटिफिक और स्टैटिस्टिक इस आधुनिक कानन आए की जा सकती है।

2. मैथ इनपुट पैनल (Math Input Panel):

  • उपयोग: यह टूल हाथ से लिखे गणितीय सूत्रों को डिजिटल रूप में बदलने में मदद करता है।
  • विशेषताएँ: छात्रों और पेशेवरों को विशेष रूप से सुविधा होती है जब वे गणितीय समस्याओं को डिजिटल रूप में समझना और सॉल्व करना चाहते हैं।

 

3.स्निपिंग टूल (Snipping Tool):

  • उपयोग: यह टूल विभिन्न प्रकार के स्क्रीनशॉट लेने के लिए उपयुक्त है।
  • विभिन्न प्रकार:
    • फ्री-फॉर्म स्निप (Free-Form Snip): एक ऑब्जेक्ट के चारो और फ्री फ्रॉम शेप ड्रॉ करना
    • रेक्टेंगुलर स्निप (Rectangular Snip): ऑब्जेक्ट के चारो और कर्सर को ड्रेग कर रेक्टेंगल फ्रॉम करना
    • विंडो स्निप (Window Snip): विंडो को सलेक्ट करे जैसे की ब्राउसर विंडो या डायलॉग बॉक्स को जिसे आप कैप्चर करना चाहते हैं |
    • फुल स्क्रीन स्निप (Full Screen Snip): इसके द्वारा पूरी स्क्रीन को कैप्चर कर सकते हैं |

 

विंडोज 11 में मोबिलिटी सेंटर (Mobility Center)

एक उपयोगी टूल है जो लैपटॉप और अन्य पोर्टेबल डिवाइस के लिए डिज़ाइन किया गया है। यह टूल उपयोगकर्ताओं को उनके पोर्टेबल डिवाइस की बैटरी की स्थिति, वायरलेस नेटवर्क कनेक्शन, ब्राइटनेस और वॉल्यूम नियंत्रण, ऑडियो सेटिंग्स, ऑप्टिमाइज़ डिस्प्ले सेटिंग्स, और अन्य मोबाइल डिवाइस सेटिंग्स को प्रबंधित करने की सुविधा प्रदान करता है। यह उपकरण यातायात के दौरान डिवाइस के बेहतर उपयोग के लिए महत्वपूर्ण होता है और उपयोगकर्ताओं को उनकी डिवाइस को सरलता से प्रबंधित करने में मदद करता है।

 

ब्राइटनेस वॉल्यूम, बैटरी स्टेटस, वायरलेस नेटवर्क, स्क्रीन रोटेशन,एक्सटर्नल डिस्प्ले, सिंक सेंटर,पेंट, सिस्टम टूल्स।

1. ब्राइटनेस

ब्राइटनेस (Brightness) डिवाइस की स्क्रीन की चमक को नियंत्रित करती है। ब्राइटनेस को कम या ज्यादा करके आप स्क्रीन की रोशनी को अपनी जरूरत के अनुसार सेट कर सकते हैं। यह फीचर अक्सर बैटरी की बचत और आँखों की सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण होता है।

2. वॉल्यूम

वॉल्यूम (Volume) आपके डिवाइस के ऑडियो लेवल को नियंत्रित करता है। आप इसे बढ़ाकर या घटाकर ध्वनि की तीव्रता को अपनी आवश्यकता के अनुसार एडजस्ट कर सकते हैं। यह फीचर संगीत सुनने, वीडियो देखने और कॉल पर बातचीत के दौरान उपयोगी होता है।

3. बैटरी स्टेटस

बैटरी स्टेटस (Battery Status) आपके डिवाइस की बैटरी की वर्तमान स्थिति को दर्शाता है, जैसे कि बैटरी प्रतिशत, चार्जिंग स्टेटस, और बैटरी की लाइफ। यह फीचर आपको अपने डिवाइस की बैटरी को मॉनिटर करने में मदद करता है ताकि आप सही समय पर इसे चार्ज कर सकें।

4. वायरलेस नेटवर्क

वायरलेस नेटवर्क (Wireless Network) आपके डिवाइस को इंटरनेट से कनेक्ट करने के लिए आवश्यक है। यह आपको Wi-Fi नेटवर्क के माध्यम से इंटरनेट का उपयोग करने की सुविधा प्रदान करता है। आप उपलब्ध नेटवर्क्स को देख सकते हैं और उनसे कनेक्ट या डिस्कनेक्ट हो सकते हैं।

5. स्क्रीन रोटेशन

स्क्रीन रोटेशन (Screen Rotation) आपके डिवाइस की स्क्रीन की ओरिएंटेशन को नियंत्रित करता है। जब आप अपने डिवाइस को घुमाते हैं, तो स्क्रीन अपने आप पोर्ट्रेट (Portrait) या लैंडस्केप (Landscape) मोड में बदल जाती है। यह फीचर वीडियो देखने, गेम खेलने और पढ़ाई के दौरान उपयोगी होता है।

6. एक्सटर्नल डिस्प्ले

एक्सटर्नल डिस्प्ले (External Display) फीचर आपको अपने डिवाइस को दूसरे मॉनिटर या टीवी से कनेक्ट करने की सुविधा देता है। यह आपको बड़े स्क्रीन पर काम करने, प्रस्तुतियां दिखाने और वीडियो देखने की सुविधा प्रदान करता है। आप HDMI, VGA, या वायरलेस कनेक्शन के माध्यम से कनेक्ट कर सकते हैं।

7. सिंक सेंटर

सिंक सेंटर (Sync Center) आपके डिवाइस के डेटा को सिंक्रोनाइज़ करने के लिए उपयोग किया जाता है। यह फीचर आपके विभिन्न डिवाइसेस के बीच डेटा ट्रांसफर को आसान बनाता है और सुनिश्चित करता है कि आपके सभी डिवाइस पर समान जानकारी हो।

8. पेंट

पेंट (Paint) एक सरल ग्राफिक्स एडिटर है जो विंडोज़ ऑपरेटिंग सिस्टम के साथ आता है। इसका उपयोग चित्र बनाने, संपादित करने, और सेव करने के लिए किया जाता है। यह टूल विभिन्न पेंटिंग टूल्स, ब्रश, और कलर पिकर प्रदान करता है।

9. सिस्टम टूल्स

सिस्टम टूल्स (System Tools) आपके डिवाइस के सिस्टम को मॉनिटर और प्रबंधित करने के लिए विभिन्न टूल्स का सेट होता है। इसमें टास्क मैनेजर, डिस्क क्लीनअप, सिस्टम इन्फॉर्मेशन, और अन्य उपयोगी टूल्स शामिल होते हैं जो सिस्टम के प्रदर्शन को बनाए रखने और सुधारने में मदद करते हैं।

 

 

अनुप्रयोग एप्लिकेशन

विंडोज 11 में बुनियादी अनुप्रयोगों और उपयोगिताओं का निर्माण किया गया है। किसी भी एप्लिकेशन को शुरू करने के लिए, आप उसके आइकन पर क्लिक कर सकते हैं (यदि डेस्कटॉप पर दिखाई दे) या फिर आप सर्च बॉक्स में एप्लिकेशन का नाम टाइप कर सकते हैं और एप्लिकेशन पर क्लिक कर सकते हैं। उपलब्ध कुछ सामान्य अनुप्रयोग/एप्लिकेशन नीचे दिए गए हैं:

वर्डपैड (WordPad)

वर्डपैड मूल रूप से फॉर्मेटिंग विकल्पों युक्त एक वर्ड प्रोसेसिंग सॉफ्टवेयर है। यह विंडोज 95 के बाद से सभी ओएस (OS) संस्करणों में शामिल है। वर्डपैड का उपयोग विंडोज 11 में करने के लिए, सर्च बॉक्स में "WordPad" टाइप करें और एंटर दबाएं। यह वर्डपैड खोल देगा। वर्डपैड को खोलने के लिए, आप रन कमांड "write.exe" का भी उपयोग कर सकते हैं। प्रेस WinKey + R, लिखें "write.exe" या "wordpad" और एंटर दबाएं।

माइक्रोसॉफ्ट पेंट (Microsoft Paint)

माइक्रोसॉफ्ट पेंट एक सरल ग्राफिक्स एडिटिंग प्रोग्राम है। इसका उपयोग चित्र बनाने, एडिट करने, और रंग भरने के लिए किया जाता है। पेंट को खोलने के लिए, स्टार्ट मेनू से "Paint" खोजें और उस पर क्लिक करें।

टाइपिंग प्रैक्टिस (Typing Practice)

टाइपिंग प्रैक्टिस के लिए कई टूल्स उपलब्ध हैं जो आपकी टाइपिंग स्पीड और सटीकता को बढ़ाने में मदद करते हैं। इनमें ऑनलाइन प्लेटफार्म जैसे typing.com और 10fastfingers.com शामिल हैं, जहां आप विभिन्न टाइपिंग लेसन और गेम्स के माध्यम से अभ्यास कर सकते हैं।

 

Windows/ File Explorer

जब आप किसी फ़ोल्डर को ओपन करते हैं, तो विंडो दिखाई देती है उसे विंडोज एक्सप्लोर या फाइल एक्सप्लोर कहा जाता है।

 

1.डायरेक्टरी स्ट्रक्चर एवं पाथ (Directory Structure and Paths)

एक फाइल या डॉक्यूमेंट डेटा का कलेक्शन होता है जिसका एक नाम होता है और जो कम्प्यूटर में स्टोर होती है। हम फाइल को फोल्डर में रख कर व्यवस्थित रख सकते हैं। विंडोज फाइलों और फोल्डरों को एक हाइरार्की या फाइल सिस्टम में व्यवस्थित करता है। रूट डायरेक्टरी वह स्थान है जहां से फाइल सिस्टम की शुरुआत होती है और इसमें वे फोल्डर और फाइलें होती हैं जिन्हें कंप्यूटर शुरू करने पर एक्सेस करना आवश्यक होता है। फोल्डर जो अन्य फोल्डर में होते हैं, उन्हें सब फोल्डर कहा जाता है।

2.फाइल, फोल्डर और शॉर्टकट्स के साथ काम करना (Working with Files, Folders, and Shortcuts)

विंडोज एक्सप्लोरर (Windows Explorer)

विंडोज एक्सप्लोरर आपके कंप्यूटर में फाइल्स, फोल्डर्स, और ड्राइव्स को दिखाता है। इसमें कंप्यूटर पैन, एक्सप्लोरर बार, फोल्डर पैन, एक्सपैंड आइकन और कोलेप्स आइकन होते हैं। "माई कंप्यूटर" आपके कंप्यूटर की ड्राइव्स को दिखाता है।

शॉर्टकट आइकन्स (Shortcut Icons)

शॉर्टकट आइकन एक लिंक होता है जो एक फाइल, फोल्डर, या प्रोग्राम को रिप्रेजेंट करता है। डेस्कटॉप, क्विक लॉन्च बार, और स्टार्ट मेनू पर शॉर्टकट आइकन्स शामिल होते हैं। शॉर्टकट आइकन्स पर एक छोटा सिंबल होता है जो उन्हें अन्य आइकन्स से अलग दिखाता है।

कार्य (Tasks)

3.फाइल/फोल्डर को कॉपी और पेस्ट करना (Copy and Paste a File/Folder)

  1. कॉपी करें: फाइल या फोल्डर पर राइट-क्लिक करें और "कॉपी" चुनें। या, फाइल/फोल्डर को चुनकर Ctrl + C दबाएं।
  2. पेस्ट करें: जिस स्थान पर पेस्ट करना है, वहां राइट-क्लिक करें और "पेस्ट" चुनें। या, स्थान चुनकर Ctrl + V दबाएं।

फाइल/फोल्डर का नाम बदलना (Rename a File/Folder)

  1. फाइल या फोल्डर पर राइट-क्लिक करें और "रीनेम" चुनें।
  2. नया नाम टाइप करें और एंटर दबाएं। या, फाइल/फोल्डर को चुनकर F2 दबाएं और नया नाम टाइप करें।

फाइल/फोल्डर को छुपाना (Hide a File/Folder)

  1. फाइल या फोल्डर पर राइट-क्लिक करें और "प्रॉपर्टीज़" चुनें।
  2. "हिडन" चेकबॉक्स को चेक करें और "ओके" पर क्लिक करें।

छुपी हुई फाइलों को देखना (View Hidden Files)

  1. फ़ाइल एक्सप्लोरर खोलें।
  2. "व्यू" टैब पर जाएं।
  3. "हिडन आइटम्स" चेकबॉक्स को चेक करें।

4. पासवर्ड के साथ फ़ाइल/फ़ोल्डर लॉक करना (Lock a File/Folder with Password)

विंडोज में बिल्ट-इन पासवर्ड प्रोटेक्शन फीचर नहीं है, लेकिन थर्ड-पार्टी सॉफ्टवेयर का उपयोग किया जा सकता है। फाइल को लॉक करना आरंभ करने के लिए ऐड ततो लॉक बटन पर क्लिक करे, ऐसा करने से एक ड्राप डाउन मेनू को डिसप्ले होने की अनुमति मिलेगी, जहा से आप उन फोल्डर को जोड़ना शुरू कर सकते हैं, जिन्हे आप लॉक करना चाहते है इसके आलावा, आप लॉक के एक वैकल्पिक माध्यम के रूप में लॉक फाइल इंटरफेस पर किसी फोल्डर को ड्रेग और ड्राप भी कर सकते हैं या फिर जैसे:

  • 7-Zip:
    1. 7-Zip सॉफ़्टवेयर इंस्टॉल करें।
    2. फ़ाइल/फ़ोल्डर पर राइट-क्लिक करें, "7-Zip" पर जाएं, और "Add to archive..." चुनें।
    3. "Archive format" को ZIP पर सेट करें।
    4. "Encryption" सेक्शन में पासवर्ड दर्ज करें और "OK" पर क्लिक करें।

एक प्रोग्राम इंस्टॉल / अनइंस्टॉल करना (Installing/Uninstalling a Program)

आप विण्डोज 11 में शामिल प्रोग्राम और फीचर के साथ बहुत कुछ करने में सक्षम है, लेकिन इसके बावजूद भी आप अन्य प्रोग्राम को इंस्टॉल कर सकते हैं। विण्डोज ।। में, आम तौर पर प्रोग्राम सीडी या डीवीडी से इंटरनेट (Internet) से या विण्डोज स्टोर से इंस्टॉल किए जाते हैं। यदि आप अपने कंप्यूटर पर पहले से इन्सटाल्ड प्रोग्राम को अनइन्स्टॉल या परिवर्तन करना चाहते हैं, तो आप इसे कण्ट्रोल पैनल या सेटिंग ऐप के जरिए कर सकते हैं।

3.6.1 सीडी या डीवीडी से इन्स्टॉल करना (Installing from a CD or DVD)

अपने कंप्यूटर में डिस्क डालें, और फिर अपनी स्क्रीन पर दिए गए निर्देशों का पालन करें। यदि आपको एक एडमिनिस्ट्रेटर पासवर्ड या पुष्टिकरण के लिए संकेत दिया जाता है, तो पासवर्ड टाइप करें या पुष्टिकरण प्रदान करें सीडी या डीवीडी से इन्स्टॉल्ड कई प्रोग्राम के लिए स्वचालित रूप से इंस्टॉलेशन विज़ार्ड खोलें। इन मामलों में, ऑटो प्ले डायलॉग बॉक्स प्रकट होता है और आप विज़ार्ड को चलाने के लिए चुन सकते हैं।

यदि कोई प्रोग्राम स्वचालित रूप से इंस्टॉलेशन शुरू नहीं करता है, तो प्रोग्राम के साथ आने वाली जानकारी देखें। यह जानकारी प्रोग्राम को मैन्युअल रूप से इन्स्टॉल करने के लिए निर्देश प्रदान करेगी। यदि आप इस जानकारी का उपयोग नहीं कर सकते हैं, तो आप डिस्क के माध्यम से भी ब्राउज़ कर सकते हैं और प्रोग्राम सेटअप फ़ाइल खोल सकते हैं, जिसे आमतौर पर Setup.exe या Install.exe कहा जाता है।

यदि इंस्टॉल स्वचालित रूप से प्रारंभ नहीं होता है, तो सर्च में अपनी ऑटोप्ले सेटिंग्स को जाचें, ऑटोप्ले सेटिंग्स दर्ज करें और ऑटोप्ले सेटिंग्स चुनें। सुनिश्चित करें कि ऑटोप्ले ऑन है।

 

इंटरनेट से इंस्टाल करना चाहते हैं, तो इसके लिए आमतौर पर निम्नलिखित कदम होते हैं:

  1. खोजें और डाउनलोड करें: सबसे पहले, आपको वह प्रोग्राम या ऐप्लिकेशन का नाम या उसकी वेबसाइट जाननी होगी जहां से आप इसे डाउनलोड कर सकते हैं। ज्यादातर ऐप्लिकेशन के लिए वेबसाइट उपलब्ध होती है जहां से आप इसे डाउनलोड कर सकते हैं।
  2. इंस्टालेशन फ़ाइल डाउनलोड करें: वेबसाइट पर जाकर, आपको वहां दिए गए डाउनलोड लिंक पर क्लिक करना होगा। इससे आपके कंप्यूटर में उस प्रोग्राम की इंस्टालेशन फ़ाइल डाउनलोड हो जाएगी।
  3. इंस्टालेशन प्रक्रिया: फ़ाइल डाउनलोड होने के बाद, आपको उस फ़ाइल पर डबल-क्लिक करना होगा या फिर उसे खोलने के लिए आपको इसे खोलने की जरूरत हो सकती है। इसके बाद, इंस्टालेशन गाइड के अनुसार आगे की कदमों का पालन करें। यह आमतौर पर 'Next', 'Install' आदि बटन पर क्लिक करने के माध्यम से किया जा सकता है।

माइक्रोसॉफ्ट स्टोर इंस्टाल

माइक्रोसॉफ्ट स्टोर के माध्यम से प्रोग्राम या application को स्थापित करने के लिए।टास्कबार या Start Menu पर सर्च बार में माइक्रोसॉफ्ट टाइप करें।आवश्यक प्रोग्राम की खोज करें और इंस्टाल करें।

 

प्रोग्राम इंस्टालेशन प्रक्रिया:

1.      डाउनलोड: पहले, आपको वह प्रोग्राम डाउनलोड करना होगा जिसे आप इंस्टाल करना चाहते हैं। इसे वेबसाइट से या अन्य स्रोत से डाउनलोड कर सकते हैं।

2.      इंस्टालेशन फ़ाइल खोलें: फ़ाइल डाउनलोड होने के बाद, आपको इसे खोलना और इंस्टालेशन प्रक्रिया शुरू करने के लिए उस पर डबल-क्लिक करना होगा। यदि फ़ाइल .exe या .msi है, तो आमतौर पर इसे खोलने पर इंस्टालेशन विजेट (installation wizard) खुलेगा।

3.      इंस्टालेशन विजेट का पालन करें: विजेट आपको इंस्टालेशन के लिए गाइड करेगा। आपको विभिन्न स्टेप्स में 'Next', 'Install' या 'अगला' बटन पर क्लिक करना हो सकता है। कुछ प्रोग्राम्स आपसे कुछ विकल्प चुनने के लिए भी पूछ सकते हैं।

4.      सेटअप पूरा होना: इंस्टालेशन पूरी होने पर, आपको एक 'Finish' या 'खत्म' बटन पर क्लिक करने के लिए कहा जा सकता है। यह प्रोग्राम अब आपके कंप्यूटर पर इंस्टाल हो गया है और उसे आप अपनी इच्छा के अनुसार उपयोग कर सकते हैं।

 

 

अनइंस्टालेशन या किसी भी प्रोग्राम को अनइंस्टाल करने के लिए आप निम्नलिखित प्रक्रिया का पालन कर सकते हैं:

  1. Control Panel के माध्यम से:
    • Start Menu खोलें और "Control Panel" खोजें।
    • Control Panel में, "Programs" या "Programs and Features" विकल्प को चुनें।
    • अब, आपके सभी इंस्टॉल किए गए प्रोग्राम्स की सूची दिखाई जाएगी।
    • जिस प्रोग्राम को आप अनइंस्टाल करना चाहते हैं, उस पर दो बार क्लिक करें और "Uninstall" या "Change/Uninstall" बटन दबाएं।
    • अनइंस्टालेशन प्रक्रिया के लिए स्क्रीन पर आगामी निर्देशों का पालन करें।

 

Windows 11 में प्रोग्राम को अनइंस्टाल करने की प्रक्रिया Windows 10 की तरह ही होती है। निम्नलिखित तरीके से आप किसी भी प्रोग्राम को अनइंस्टाल कर सकते हैं:

  1. Settings एप्लिकेशन के माध्यम से:
    • Start Menu खोलें और "Settings" खोजें या Windows key + I दबाएं।
    • Settings एप्लिकेशन में, "Apps" विकल्प पर जाएं।
    • "Apps & features" विकल्प को चुनें।
    • अब, आपके सभी इंस्टॉल किए गए प्रोग्राम्स की सूची दिखाई जाएगी।
    • जिस प्रोग्राम को आप अनइंस्टाल करना चाहते हैं, उस पर क्लिक करें और "Uninstall" बटन दबाएं।
    • अनइंस्टालेशन प्रक्रिया के लिए स्क्रीन पर आगामी निर्देशों का पालन करें।

 

 


63 1 month ago